JEE-Advanced 2025: IIT कानपुर ने JEE-Advanced 2025 के लिए एक बड़ा बदलाव किया है। पहले छात्रों को तीन बार परीक्षा में बैठने का अवसर देने की योजना थी, लेकिन अब इसे वापस लेते हुए फिर से केवल दो प्रयासों तक सीमित कर दिया गया है। इस निर्णय ने उन हजारों छात्रों को निराश किया है जो तीसरे प्रयास की उम्मीद कर रहे थे।
पहले क्या था नियम?
इस साल की शुरुआत में, IIT कानपुर ने JEE-Advanced के लिए प्रयासों की संख्या दो से बढ़ाकर तीन करने की घोषणा की थी। यह बदलाव छात्रों और उनके अभिभावकों के बीच बेहद लोकप्रिय हुआ, खासकर उन छात्रों के लिए जिन्होंने अपने पहले दो प्रयासों में सफलता नहीं पाई थी।
यह निर्णय उन छात्रों को एक और मौका देने के उद्देश्य से लिया गया था, जो परीक्षा के कठिन मानकों को पूरा करने के लिए अधिक तैयारी का समय चाहते थे।
क्यों बदला गया निर्णय?
IIT कानपुर के इस फैसले को बाद में जॉइंट एडमिशन बोर्ड (JAB) की बैठक में पलट दिया गया। JAB के सदस्यों ने निर्णय लिया कि तीन प्रयासों का प्रावधान संस्थान की मूल नीति और परीक्षा के उच्च मानकों के अनुकूल नहीं है।
बोर्ड का मानना है कि JEE-Advanced जैसी प्रतिष्ठित परीक्षा में अधिक प्रयास की अनुमति देने से इसके प्रतिस्पर्धात्मक स्तर पर असर पड़ सकता है। इस वजह से, यह निर्णय लिया गया कि छात्रों को केवल दो प्रयास दिए जाएंगे, जैसा कि पहले से होता आया है।
छात्रों की प्रतिक्रिया
इस निर्णय से हजारों छात्रों में निराशा है, खासकर उन छात्रों में जो तीसरे प्रयास की योजना बना रहे थे। कई छात्रों ने कहा कि पहले तीन प्रयासों का नियम लाने से उन्हें अतिरिक्त मौका मिलने की उम्मीद थी, लेकिन इसे वापस लेना उनके लिए अन्याय जैसा है।
छात्रों और उनके परिवारों का कहना है कि JEE-Advanced जैसी कठिन परीक्षा के लिए पर्याप्त समय और तैयारी की जरूरत होती है। ऐसे में दो प्रयासों का नियम उन छात्रों के लिए चुनौतीपूर्ण है जो परीक्षा में पहले सफल नहीं हो सके।
IIT कानपुर और JAB का पक्ष
IIT कानपुर और JAB का कहना है कि यह बदलाव परीक्षा की प्रतिष्ठा बनाए रखने के लिए किया गया है। उनका मानना है कि JEE-Advanced को दुनिया की सबसे कठिन परीक्षाओं में से एक माना जाता है और इसे सरल बनाना इसके उच्च मानकों के साथ समझौता होगा।
JEE-Advanced के लिए तैयारी पर प्रभाव
इस बदलाव का छात्रों की तैयारी पर गहरा प्रभाव पड़ेगा।
- दो प्रयास का दबाव: अब छात्रों को पहले ही प्रयास में अधिकतम प्रदर्शन करने पर ध्यान देना होगा।
- अधिक प्रतिस्पर्धा: प्रयासों की संख्या कम होने से प्रतिस्पर्धा और बढ़ जाएगी।
- समय प्रबंधन: छात्रों को अपनी योजना और रणनीति को अधिक व्यवस्थित करना होगा।
भविष्य के लिए संभावनाएं
हालांकि यह बदलाव छात्रों के लिए चुनौतीपूर्ण हो सकता है, लेकिन इसका उद्देश्य परीक्षा के मानकों को बनाए रखना है। भविष्य में, यदि JAB या IIT परिषद को छात्रों से अधिक प्रतिक्रिया मिलती है, तो यह निर्णय फिर से बदला जा सकता है।
निष्कर्ष
JEE-Advanced 2025 के लिए प्रयासों की संख्या को दो तक सीमित करना छात्रों और संस्थानों के लिए एक महत्वपूर्ण बदलाव है। यह निर्णय परीक्षा के स्तर को बनाए रखने के लिए लिया गया है, लेकिन यह उन छात्रों के लिए मुश्किल हो सकता है जो तीसरे प्रयास की उम्मीद कर रहे थे।