बलि प्रथा एक गलत परंपरा:धनबाद जिला यादव युवा अध्यक्ष चुन्ना यादव

लिलोरी मंदिर में यदुवंशी समाज ने मनाया असाढ़ी पूजा, खीर की भोग लगा की मां की अराधना

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KATRAS | कैलूडीह के यदुवंशी समाज के लोग मां लिलोरी मंदिर में वार्षिक असाढ़ी पूजा 50 वर्षो से मनाते आ रहे है। जहां लिलोरी मां के दरबार में बलि प्रथा का प्रचलन है, वहीं यादव समाज के द्वारा इस पूजा में खीर का भोग चढ़ाते हुए देखने को मिला है। हर एक गांव, शहर जहाँ वार्षिक असाढ़ी पूजा में पशु की बली दी जाती है, वहीं यदुवंशी समाज के लोग पशु बलि नहीं देकर दूध से बना माँ को खीर का भोग लगा कर पूजा पाठ करते हैं।

लिलोरी माँ के दरबार मे पूजा अर्चना कर पूरे समाज, गाँव एवम देश की सुख समृद्धि का कामना करते हैं। वहीं पूजा में मुख्य रूप से शामिल धनबाद जिला यादव युवा अध्यक्ष चुन्ना यादव ने कहा कि यादव समाज के लोग अमृतरूप में दूध का उत्पादन करते हैं। इसलिए हम लोग दूध से बना खीर ही माता को प्रसाद चढ़ाते हैं। बलि प्रथा को ज्यादातर लोग सही नहीं मानते हैं। वही आनंदी यादव ने कहा कि हमारे पूर्वजों द्वारा इस पूजा का आयोजन किया गया था। उन्हीं के बताए मार्ग पर चलते हुए हम लोग इस पूजा का आयोजन करते हैं और आगे भी इस तरह का आयोजन करते रहेंगे। मौके पर आनंदी यादव, सचिता यादव, राजेंद्र यादव ,सुशील यादव, दशरथ यादव, सुमन यादव, प्रकाश यादव, शिव मुनि यादव, राम अवतार यादव, ब्रह्मदेव यादव, कालू यादव, प्रकाश यादव, सुरेंद्र यादव, राजू यादव, बलेसर यादव, शिवजी यादव, सुंदर यादव, शिवबालक यादव, लालू यादव, नंदी यादव, सुरेश यादव, इंद्रदेव यादव, सहदेव यादव, परमानंद यादव, उपेंद्र यादव, चंदन कुमार, मनु यादव आदि सैकड़ों लोग उपस्थित थे।

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