शुद्ध हवाओं के लिए अपनी आवाज को बुलंद करें जब भारत गुलाम था अंग्रेजों का तब भी हवाओं के लिए आंदोलन करना नहीं पड़ा था भारत सरकार की मिनी रत्न कंपनी के द्वारा कोयलांचल के लोगों को शुद्ध हवाओं के लिए तरसना पड़ रहा है। ज्यादातर लोग यहां सांस की बीमारी से लड़ रहे हैं, हर परिवार में एक दो व्यक्ति को सांस की बीमारी है, वायु प्रदूषण से त्राहिमाम है धनबाद सिर्फ कागजों पर हो रही है सरकार के द्वारा पर्यावरण संरक्षण आइए इस अवसर पर हम सब मिलकर खूब सारे पेड़ पौधे लगाए हरियाली छाएगी। मेरी सांसे मेरा हक –अखलाकअहमदयूथकॉन्सेप्टसंयोजक
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सुरक्षा पर्व का महत्व उस समय के समाज में अत्यंत बड़ा था। इस पर्व के माध्यम से लोग एक दूसरे के साथ जुड़ते थे और एक दूसरे की सुरक्षा का जिम्मा उठाते थे। इस पर्व का मुख्य उद्देश्य समाज में एकता और भाईचारे को बढ़ावा देना था।
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