झरिया : यूथ कॉन्सेप्ट एवं ग्रीन लाइफ झरिया के संयुक्त तत्वावधान में झरिया के कतरास मोड़ में ईद उल जुहा के अवसर पर बच्चों ने पौधारोपण कर पर्यावरण संरक्षण एवम् अवाम के सलामति का दुआ किया। बच्चों ने झरिया के लोगों से भी एक एक पौधे लगा कर देख भाल करने की अपील की। लगाए गए पौधों में सुरक्षा घेरा भी लगाया गया। डॉ समीर ने कहा इस साल सभी को एहसास हुआ है पर्यावरण कितनी जरूरी है, तापमान लगातार बढ़ती जा रही है बच्चे बूढ़े सभी वर्ग के लोगों को जलती गर्मी से राहत के लिए पेड़ पौधे लगाए। यूथ कॉन्सेप्ट के संयोजक अखलाक अहमद ने कहा कि सभी त्योहार में बच्चों द्वारा पौधा लगाने की परंपरा रखी गई है । ताकि इनमे पर्यावरण संरक्षण का संस्कार विकसित किया जा सके। यह पौधा बड़ा हो कर इस वर्ष के बकरीद की याद को ताजा रखेगा। अखलाक अहमद ने कहा कि इसी तरह पर्व में जन्मदिन पर या अन्य खुशी के मौके पर पौधे लगाए जाएं तो झरिया को हरा भरा बनाया जा सकता है। ग्रीन लाइफ के संयोजक डॉ मनोज सिंह ने कहा कि आज 17 जून को पूरा विश्व में मरुस्थल एवम् सुखा निवारण दिवस के रूप में मनाया जा रहा है। झरिया की धरती भी आउटसोर्सिंग के बाद मरुभूमि में तब्दील होगें है। आइए, एक एक पौधे लगा कर इस धरती को हरियाली के चादर से श्रृंगार करें। इस वर्ष का मिशन 10,000 पौधे के तहत झरिया में हरियाली लाने का प्रयास किया जा रहा है इसमें सभी वर्ग ले लोगों का सहयोग की अपेक्षा है। मौके पर डॉ एम समीर, डॉ मनोज सिंह, अखलाक अहमद, रूमी खान, रईस खान, मो नसीम, मो महताब, मो ताहा, अबू हुजैफा, माहिरा, अब्दुल हक अर्शी, अहमद आदि।
एक पौधा मजदूर मसीहा के नाम || कतरास मोड़ के सड़क किनारे किया गया पौधारोपण
झरिया । एक पौधा मजदूर मसीहा के नाम पर आज कतरास मोड़ के सड़क किनारे पौधारोपण किया गया साथ में जालियों के साथ घेराव भी किया गया। सुरेंद्र सिंह मेमोरियल फाउंडेशन के श्री किरण सिंह जी ने पौधारोपण किया साथ में उनके बच्चे उन्होंने कहा कि पर्यावरण बहुत तेजी से परिवर्तन हो रहा है आज हम लोग पर्यावरण के प्रति सचेत नहीं हुई तो आने वाले वर्षों में धरती रहने के लायक नहीं होगी इसलिए हमें अधिक से अधिक पेड़ लगाना होगा, यूथ कॉन्सेप्ट संयोजक अखलाक अहमद ने कहा पेड़ मात्र ही आख़िरी विकल्प है।पारा #50डिग्री तक जा रहा है, इससे ज़्यादा #इंसानों में धूप सहने की शक्ति नहीं है, कृपया इस #बारिश के सीजन में कम से कम 5 पेड़ ज़रूर लगाये और उनका संरक्षण भी करें। पेड़ लगाइये जीवन बचाइये