Dhanbad News: इंडियन माइन ऑफिशियल्स सेफ्टी एंड सुपरविजन एसोसिएशन ने कोल इंडिया लिमिटेड को पत्र लिखकर कैडर स्कीम में संशोधन लागू करने और डीजीएमएस द्वारा जारी प्रतिबंधित प्रवीणता प्रमाण पत्र को प्रमोशन हेतु मान्यता देने की पुरजोर मांग की है।
इनमोसा के उप महासचिव कुश कुमार सिंह ने अपने पत्र में उल्लेख किया है कि कोयला उत्पादन का 80% से अधिक हिस्सा वर्तमान में ओपनकास्ट (खुली खदान) पद्धति से हो रहा है, जिसमें ऐसे तकनीकी अधिकारियों की महत्वपूर्ण भूमिका है जो डीजी एमएस द्वारा जारी प्रतिबंधित प्रमाण पत्र धारक हैं।
एसोसिएशन ने पहले भी कई बार पत्रांक के माध्यम से को सीआईएल को कैडर संशोधन प्रारूप सौंपा था, जिसमें माइनिंग सरदार और ओवरमैन के पदों के पुनः नामांकन और उनकी पदोन्नति की स्पष्ट राह सुझाई गई थी। इनमोसा का कहना है कि यदि इन तकनीकी कर्मचारियों की क्षमता को मान्यता नहीं दी गई तो न केवल उनका मनोबल टूटेगा, बल्कि कोयला उद्योग की उत्पादकता और सुरक्षा व्यवस्था भी प्रभावित हो सकती है।
एसोसिएशन ने यह स्पष्ट किया है कि यदि कोल इंडिया प्रबंधन द्वारा कैडर संशोधन और प्रमोशन संबंधी मांगों पर शीघ्र निर्णय नहीं लिया गया, तो इनमोसा को बी सी सी एल में आंदोलन शुरू करने के लिए बाध्य होना पड़ेगा, जिसकी पूर्ण जिम्मेदारी कोल इंडिया प्रबंधन की होगी। इनमोसा को आशा है कि प्रबंधन इस गंभीर मुद्दे पर सहानुभूतिपूर्वक विचार करेगा और जल्द निर्णय लेगा ताकि तकनीकी सुपरवाइजरी स्टाफ का भविष्य सुरक्षित रह सके।
Dhanbad News: इनमोसा ने कोल इंडिया से की कैडर संशोधन लागू करने की मांग, चेताया आंदोलन का संकेत

इनमोसा ने कोल इंडिया से की कैडर संशोधन लागू करने की मांग